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दिल की हिफ़ाजत दिल से करें ताकि आपका दिल रहें महफूज


आयुर्वेद चिकित्सा पद्धति में बीमारी को जड़ से खत्म करने और बीमारी नहीं होने देने की गारंटी है। कुछ जड़ी बूटियां दिल की बीमारी से महफूज रखती हैं। आप भी आयुर्वेदिक तरीके अपना कर अपने दिल की सेहत का ख्याल रख सकते हैं।


आयुर्वेद में हर बीमारी से बचने के उपाय मौजूद है। प्राचीन काल से ही आयुर्वेदिक पद्धति का इस्तेमाल करके बीमारी का इलाज किया जाता था। दिल की बीमारी का इलाज भी आयुर्वेदिक तरीके से किया जा सकता है। अगर आयुर्वेद के कुछ नुस्खे अपनाएं जाएं तो दिल के रोगों से महफूज रहा जा सकता है। किसी व्यक्ति को हार्ट अटैक आजाए उस वक्त आयुर्वेद की दवा काम नहीं करेगी, लेकिन अगर आयुर्वेद के कुछ नुस्खे अपनाए जाए तो हार्ट अटैक की नौबत ही नहीं आएगी। आयुर्वेद में दिल को तंदुरुस्त रखने के लिए कई नुस्खे बताए गए हैं।


आयुर्वेद की मदद से बिना एंजियोप्लास्टी के करीब 80 फीसदी हार्ट अटैक की संभावना को टाला जा सकता है। इससे दिल की दूसरी बीमारियां भी कम हो जाती है। दिल की बीमारियां एसिडिटी के कारण होती है पेट में जब एसिडिटी अधिक हो जाती है तो एसिड खून में मिल जाता है और रक्त वाहिनियों में एसिड ब्लड आगे नहीं बह पाता और ब्लॉकेज की समस्या उत्पन्न होती है। आप भी अपने दिल की हिफाजत करना चाहते हैं तो आयुर्वेदिक तरीके से करें दिल की सेहत का ख्याल। अपनी डाइट में ऐसी चीज़ों को शामिल करें जिससे दिल की बीमारी से महफूज रहा जा सके।


पुदीना और तुलसी पत्ते सुबह खाएं:

हम सब जानते हैं कि तुलसी में कई बीमारियों को सही करने की शक्ति है। हम सब इसका सेवन करते भी हैं, लेकिन अगर किसी का दिल स्वस्थ नहीं है तो रोजोना तुलसी और पुदीने की कुछ पत्तियां का सुबह में सेवन करें, तो दिल को हमेशा के लिए तंदुरुस्त रखा जा सकता है। आयुर्वेदाचार्य बताते हैं कि इससे ब्लड का पीएच लेवल सामान्य बना रहता है, जिससे रक्त धमनियों में ब्लॉकेज नहीं होता और हार्ट अटैक से बचाव होता है।


हल्दी धमनियों की गांठ हटाने में कारगर:

कोरोना काल के इस दौर में आयुष मंत्रालय की गाइडलाइन के अनुसार हल्दी दूध पीने की सलाह दी गई है, लेकिन हल्दी हार्ट अटैक से बचाने में भी बेहद कारगर है। हल्दी की कुछ गांठों को चार दिनों तक चूने के पानी में भिगोकर रखने के बाद इसे सुखा लीजिए। जब ये गांठें अच्छी तरह सूख जाएं तो इन्हें बारीक़ पीसकर चूर्ण बना लें। अब इस चूर्ण को एक-एक ग्राम की मात्रा सुबह-शाम गुनगुने पानी में सेवन करें। इससे खून की जो धमनियां ब्लॉकेज हो गई हैं, वे खुल जाएंगी।


लौकी करती है दिल का इलाज

हार्ट अटैक का आयुर्वेदिक तरीके से इलाज करने के लिए क्षारिय वस्तुएं खाने की सलाह दी जाती है। इसे खाने से ब्लॉकेज खुल जाते हैं। लौकी की सब्जी और लौकी का जूस दिल के लिए बेहद फायदेमंद है। लौकी के जूस में तुलसी के पत्ते मिलाकर भी पिया जा सकता है। आप इस जूस में सेंधा नमक मिलाकर भी पी सकते हैं जिससे इसका स्वाद बढ़ेगा।

 
 
 

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